Output Devices (आउटपुट डिवाइस) in Hindi
आज की लेख में हम पढेंगे Computer Output Devices के बारे में Output Devices कौन कौन से होते हैं
आउटपुट डिवाइस कुछ ऐसे डिवाइस होते हैं जो प्रोसेस के बाद परिणाम प्रदर्शित करते हैं.
कुछ आउटपुट उपकरण निम्न प्रकार हैं-
1- मॉनिटर (Monitor)
2- प्रिंटर (Printer)
3- प्लांटर (Plotter)
4- स्पीकर (Speaker)
5- स्क्रीन इमेज प्रोजेक्टर (Screen Image Projector)
1- मॉनिटर (Monitor):- मॉनिटर एक आउटपुट डिवाइस है यह देखने में टीवी की तरह होता है जो इनपुट के रिजल्ट को प्रोसेस के बाद स्क्रीन पर परिणाम को प्रदर्शित करता है. यह कम्प्यूटर एवं प्रयोगकर्ता के बीच सम्बन्ध स्थापित करता है. कम्प्यूटर की सभी सूचनाओं को देखने हेतु इस उपकरण का उपयोग किया जाता है. इसे Visual Display Unit (VDU) भी कहा जाता है.
मॉनिटर के प्रकार निम्नलिखित हैं-
i- सी आर टी (CRT - Cathod Ray Tube)
ii- एल सी डी (LCD - Liquid Crystal Display)
iii- एल ई डी (LED - Light Emitting Diode)
iv- टी एफ टी (TFT - Thin Film Transister)
i- सी आर टी (CRT - Cathod Ray Tube):- CRT Monitor का पूरा नाम Cathod Ray Tube है यह मोनिटर ठीक उसी सिधांत पर कार्य करता है जैसे टीवी कार्य करता है इसमें एक Cathod Ray Tube रहता है जिसमे इलेक्ट्रान गन लगा होता है, जिसके द्वारा प्राप्त इलेक्ट्रान बीम को परिवर्तित कर चित्र बनाया जाता है अर्थात स्क्रीन पर डिस्प्ले प्राप्त होता है. पहले के समय में यह मोनिटर सबसे जय प्रयोग किये जाते थे.
ii- एल सी डी (LCD - Liquid Crystal Display):- इस मोनिटर का पूरा नाम लिक्विड क्रिस्टल डिस्प्ले (Liquid Crystal Display) है. इसकी सबसे बड़ी ख़ास बात यह है की इसका वजन बहुत कम होता है साथ ही इसमें बिजली की खपत भी बहुत कम होती है. इसका लाभ यह भी है की ये तेज प्रकाश में बहुत अधिक चमकते हैं जबकि LED को प्रकाश में देख पाना बहुत मुश्किल हो जाता है. LCD का प्रयोग लैपटॉप, कम्प्यूटर एवं टेलीविजन में किया जाता है.
iii- एल ई डी (LED - Light Emitting Diode):- इस LED मोनिटर की बात करें तो ये सबसे नवीनतम प्रकार के मोनीटर हैं, ये मोनिटर CRT और LCD की तुलना में कम बिजली की खपत करते हैं और इनको पर्यावरण के अनुकूल माना गया है. इस्सके फायदे यह हैं की ये हायर contrast वाले इमेज का उत्पादन करते हैं. यह CRT और LCD की तुलना में अधिक टिकाऊ होते हैं. LED मोनिटर बहुत अधिक भरोसे वाले होते हैं. इसका प्रयोग लैपटॉप, कम्प्यूटर एवं टेलीविजन तथा मोबाइल फोन, डिजिटल कैमरा, टेबलेट जैसे Devices में प्रयोग किया जाता है.
iv- टी एफ टी (TFT - Thin Film Transister):- यह एक प्रकार का सीधा (Flat) स्क्रीन होता इसका पूरा नाम Thin Film Transister है. यह हल्का तथा पतला होता है तथा कम जगह घेरता है. इसकी स्क्रीन काफी पतली और लम्बी होती है.
2- प्रिंटर (Printer):- प्रिंटर भी एक मुख्य आउटपुट डिवाइस है. इसके द्वारा प्रिंट कॉपी या हार्ड कॉपी कागज पर आउटपुट के रूप में प्राप्त होता है. इसका प्रयोग स्थाई दस्तावेज तैयार करने के लिए होता है.
प्रिंटर को तीन प्रकार के समूहों में विभाजित किया गया है.
i- कैरेक्टर प्रिंटर (Character Printer):- यह एक बार में केवल एक कैरेक्टर प्रिंट करता है. इसे सीरियल प्रिंटर भी कहा जाता है. यह लगभग 200 से 450 कैरेक्टर तक प्रति मिनट प्रिंट करता है.
ii- लाइन प्रिंटर (Line Printer):- यह एक बार में एक लाइन प्रिंट करता है. यह बहुत ही तीव्र गति से कार्य करता है ये प्रिंटर प्रति मिनट 200 से 2000 लाइन प्रिंट करता है.
iii- पेज प्रिंटर (Page Printer):- यह प्रिंटर एक बार में पूरा पेज प्रिंट करता है. यह विशाल डेटा का प्रिंट लेने के लिए सक्षम होता होता है.
प्रिंट करने के आधार पर प्रिंटर के प्रकार:
प्रिंट करने के आधार पर प्रिंटर दो तरह के होते हैं.
i- Impact Printer (इम्पैक्ट प्रिंटर)
ii- Non Impact Printer (नॉन इम्पैक्ट प्रिंटर)
i- Impact Printer (इम्पैक्ट प्रिंटर):- यह रिबन, कागज तथा कैरेक्टर तीनों पर एक साथ चोट करके डेटा को प्रिंट करता है, यह प्रिंटर निम्न प्रकार के होते हैं-
जैसे - डॉट मैट्रिक्स प्रिंटर, डेजी व्हील प्रिंटर
ii- Non Impact Printer (नॉन इम्पैक्ट प्रिंटर):- यह ध्वनि मुक्त प्रिंटर होते हैं क्योंकि इन प्रिंटरों में प्रिंटिंग हेड कागज पर चोट नहीं करता है. यह प्रिंटर भी कई तरह के होते हैं.
जैसे- इंकजेट प्रिंटर, लेजर प्रिंटर, थर्मल प्रिंटर
3- प्लांटर (Plotter):- प्लांटर (Plotter) एक आउटपुट उपकरण है. इसका प्रयोग ग्राफ प्राप्त करने के लिए किया जाता है. इसका उपयोग चिकित्सक, इंजीनियर, सीटी प्लानर आदि करते हैं. यह रेखा चित्र तथा ग्राफ आदि जैसे आउटपुट प्रदान करता है.
4- स्पीकर (Speaker):- स्पीकर (Speaker) भी एक आउट पुट उपकरण है इसका प्रयोग मनोरंजन के लिए जैसे ध्वनि के रूप आउटपुट प्राप्त होता है. इसके प्रयोग के लिए CPU में साउंड कार्ड का होना भी आवश्यक होता है. इसका उपयोग संगीत अथवा किसी भी तरह की आवाज को सुनने के लिए किया जाता है.
5- स्क्रीन इमेज प्रोजेक्टर (Screen Image Projector):- इसका प्रयोग मीटिंग और प्रजेन्टेशन आदि में किया जाता है इसके द्वारा स्क्रीन को बड़े परदे पर दिखाया जाता है जिसे एक बड़े हाल में बैठ कर प्रत्येक कोई देख सके.
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